पं श्याम त्रिपाठी/बनारसी मौर्या
नवाबगंज (गोंडा) । फर्जी गेमिंग ऐप के जरिए करोड़ों की ठगी के मामले में नया मोड़ सामने आया है। थाना क्षेत्र के कल्यानपुर गांव के रहने वाले डा हाफिज अली के छोटे भाई लियाकत अली ने आईजी देवीपाटन मंडल को शिकायती पत्र देकर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा है कि उनके भाइयों को बेवजह इस प्रकरण में फंसाया जा रहा है। तथा आशा जताई है कि न्याय मिलेगा।
नवाबगंज थाना क्षेत्र के कल्यानपुर गांव मे चर्चित डा हाफिज अली के मामले मे नया मोड आया है हाफीज के छोटे भाई लियाकत अली ने आईजी देवीपाटन मंडल अमित पाठक को शिकायती पत्र देकर अपने भाई के मामले की निष्पक्ष जांच कराए जाने की मांग की है लियाकत अली का दावा है कि जिन बैंक खातों में 2.36 करोड़ रुपये का लेन-देन दिखाया जा रहा है, वह असल में ग्राम पंचायत के 14वें वित्त आयोग की निधि का पैसा है, न कि किसी गेमिंग ऐप के जरिए ठगी का है। लियाकत अली ने बताया कि ए.आर. माइंस एंड सप्लायर नाम की फर्म ब्लॉक में रजिस्टर्ड है और लंबे समय से पंचायतों को विकास कार्यों के लिए सामान सप्लाई करती रही है। उन्होंने दावा किया कि जिस खाते में रकम आई है, उसका संचालन अतीकुर्रहमान करते हैं और पूरा पैसा पंचायत सप्लाई से जुड़ा है। इस संबंध में बैंक का स्टेटमेंट भी उपलब्ध है, जो लेन-देन की वास्तविकता साबित करता है, यह भी बताया कि फर्म में दर्ज मोबाइल नंबर से जुड़ा सिम कार्ड बीते 18 अगस्त को अन्य कागजातों के साथ खो गया था, जिसे गोंडा निवासी तौसीफ और तारिक ने पाया था और तीन दिन बाद लौटा दिया था। इस बाबत थाने में लिखित तहरीर दी गई थी, जिसकी प्रति उनके पास मौजूद है। मामले को लेकर तौसीफ के खिलाफ अदालत में मुकदमा भी दायर किया गया है।लियाकत अली ने आरोप लगाया कि फर्जी गेमिंग ऐप मामले में गिरफ्तार किए गए अंकित गुप्ता के मोबाइल में उनका नंबर मिलने के बाद ही उनके भाइयों को संदेह के आधार पर फंसाया गया है। उन्होंने साफ कहा कि उनका कारोबार पंचायत सप्लाई से जुड़ा है और इस ठगी से उनका कोई लेना-देना नहीं है बीते दिनों कन्नौज पुलिस ने फर्जी गेमिंग ऐप के जरिए करोड़ों की ठगी का खुलासा किया था। जांच में कई संदिग्ध खातों और भारी-भरकम ट्रांजैक्शनों का पता चला, जिसमें नवाबगंज थाना क्षेत्र का नाम सामने आने के बाद स्थानीय स्तर पर खलबली मच गई थी।
इस मामले मे थानाध्यक्ष अभय सिंह ने कहा कि पूरे प्रकरण की कन्नौज पुलिस गहन जांच कर रही है। बैंक खातों की फॉरेंसिक ऑडिट कराई जा रही है, ताकि यह स्पष्ट हो सके कि रकम पंचायत सप्लाई से संबंधित है या फिर वाकई फर्जी ऐप ठगी से आई है। हर पहलू की निष्पक्ष जांच के बाद ही असली सच्चाई सामने आएगी।वही लियाकत अली ने कहा कि उसे कानून पर पुरा भरोसा है उसे और उसके भाइयो पर लगे आरोप निराधार साबित होंगे हम कानून का हर संभव मदद करते रहेगे।
इसी तरह हाफीज अली के गेमिंग एप मे रुपये के लेन देन के मामले में ए आर माइंस एवं ब्रिक सप्लायर के संचालक अतीकुर ने कन्नौज पुलिस अधीक्षक को शपथ पत्र देकर बताया है कि वह नवाबगंज विकासखंड मे पंचायत रजिस्टर कराकर ईट बालू मोरंग आदि सबंधी काम पंचायतो के लिए सप्लाई का काम करता है इस मामले मे जो भी लेन देन है दो सिम नंबर से हुआ है वह अपनी स्वेच्छा से लगवाया गया था उक्त दोनो मोबाइल नंबर से फर्म के संचालन और खाते के संचालन के लिए उपयोग किया गया है तथा दोनो नंबर शपथी के आफिस में रहते थे हमारे अलावा यह नंबर कोई भी संचालन नही करता था दोनो भाई शपथी के रिश्तेदार है पर इन दोनो भाइयो का इस फर्म से कोई लेना देना नही था और नही कोई हस्ताक्षेप था इस तरह अतीकुर ने नौ शर्तो को अपने शपथ पत्र मे लिखकर कन्नौज पुलिस अधीक्षक को दी है। फिलहाल इन सभी मामलो का पुलिस गहन छानबीन कर रही है।

